रवि तेजा स्टारर तेलगु फिल्म के शीर्षक में ‘‘खिलाड़ी’’ शब्द के इस्तेमाल के खिलाफ याचिका, अदालत का हस्तक्षेप से इनकार
तदनुसार आवेदन खारिज किया जाता है।’’
New Delhi: दिल्ली हाई कोर्ट ने एक तेलुगु फिल्म के शीर्षक के लिए "खिलाड़ी" शब्द के इस्तेमाल को लेकर हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया और अक्षय कुमार अभिनीत फिल्मों "खिलाड़ी" और "मैं खिलाड़ी तू अनाड़ी" के प्रोडक्शन हाउस की याचिका खारिज कर दी।
न्यायमूर्ति ज्योति सिंह ने वीनस वर्ल्डवाइड एंटरटेनमेंट की वह याचिका खारिज कर दी, जिसमें तेलुगु फिल्म के निर्माताओं द्वारा उसके (वीनस के) ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने का आरोप लगाया गया था। न्यायमूर्ति सिंह ने कहा कि हालांकि याचिकाकर्ता की 1992 की फिल्म "खिलाड़ी" काफी सफल रही थी, लेकिन दोनों फिल्मों के बीच प्रथम दृष्टया किसी भी तरह की "भ्रामक समानता" का कोई मामला नहीं है।
अदालत ने अपने हालिया अंतरिम आदेश में कहा, ‘‘इसमें कोई संदेह नहीं है कि फिल्म 'खिलाड़ी' सफल रही थी और इसने मुख्य अभिनेता को एक प्रतिष्ठा दिलाई और उन्हें 'खिलाड़ी कुमार' का नाम दिलाया... लेकिन यह स्थापित है कि एक ट्रेडमार्क ने एक दूसरे दर्जे का अर्थ प्राप्त किया है या नहीं यह सुनवाई का मामला है और दूसरी बात, यह कारक वादी को 'खिलाड़ी' शब्द को लेकर (ट्रेडमार्क) उल्लंघन का दावा करने के उद्देश्य से एकाधिकार नहीं दे सकता, खासकर तब जब ‘खिलाड़ी’ शब्द का पंजीकरण नहीं है।’’
वादी ने तेलुगु फिल्म के निर्माताओं के खिलाफ मुकदमा दायर किया था, जिसमें दावा किया गया कि ट्रेडमार्क 'खिलाड़ी' का उपयोग विशेष रूप से इसके (याचिकाकर्ता के) साथ जुड़ा हुआ है, किसी और के साथ नहीं।
इसमें प्रतिवादियों को वादी के ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने से रोकने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।
अदालत ने कहा, ‘‘इस अदालत का मानना है कि वादी अपने पक्ष में प्रथम दृष्टया मामला बनाने में विफल रहा है और पलड़ा वादी के पक्ष में नहीं है। बल्कि, यह प्रतिवादियों के पक्ष में झुका नजर आता है और यदि कोई रोक प्रदान की गई तो प्रतिवादियों को अपूरणीय क्षति होगी। तदनुसार आवेदन खारिज किया जाता है।’’
प्रतिवादी ने आवेदन का विरोध किया और अदालत को सूचित किया कि फिल्म फरवरी 2022 में तेलुगु और हिंदी डब संस्करण में सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी और बाद में ओटीटी/सेटेलाइट प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध कराई गई थी।.