समाज कल्याण विभाग मंत्री मदन सहनी ने किया असिस्टेंट हेयर ड्रेसर व स्टाइलिस्ट ट्रेनिंग सेंटर का उद्घाटन
निंग लगभग 3-4 महीनों में खत्म हो जाएगी. कार्यक्रम के प्रथम वर्ष में 240 बालक-बालिकाओं को ट्रैन करने का लक्ष्य है.
पटना : राज्य बाल संरक्षण समिति, समाज कल्याण विभाग द्वारा नव सृजन मिशन वात्सल्य अंतर्गत चाइल्ड आफ्टर केयर कार्यक्रम के तहत असिस्टेंट हेयर ड्रेसर व स्टाइलिस्ट ट्रेनिंग सेंटर का उद्घाटन समाज कल्याण विभाग, बिहार सरकार के माननीय मंत्री श्री मदन सहनी के द्वारा बाल गृह, अपना घर पटना में किया गया। उक्त अवसर पर समाज कल्याण विभाग के सचिव, श्री प्रेम सिंह मीणा, बिहार कौशल विकास मिशन के मिशन निदेशक सुरेश कुमार सिंह, राज्य बाल संरक्षण समिति के निदेशक श्री प्रशांत कुमार सी० एच०, भारतीय स्टेट बैंक के महाप्रबंधक, श्री शैलेन्द्र सिंह तरागी, यूनिसेफ बिहार के बाल संरक्षण विशेषज्ञ श्री बंकु बिहारी सरकार, संस्थान के निदेशक अभिषेक सिन्हा मौजूद थे। यह ट्रेनिंग सेंटर राज्य बाल संरक्षण समिति, समाज कल्याण विभाग, बिहार सरकार द्वारा संपोषित एवं बिहार कौशल विकास मिशन से संबद्ध "राजेंद्र शिक्षा एवं समाज कल्याण संस्थान' के द्वारा संचालित किया जा रहा है। मौके पर, प्रशिक्षण हेतु चयनित बच्चों को माननीय मंत्री एवं मौजूद अथितिगण द्वारा किट वितरण किया गया।
इससे पहले उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए मंत्री ने कहा कि बाल गृह में रह रहे बच्चों के लिए यह एक शानदार मौका है, जिनकी बदौलत बच्चे अपना भविष्य उज्जवल बना सकते हैं। वहीं, समाज कल्याण विभाग के सचिव, प्रेम सिंह मीणा ने कहा कि मैं कामना करता हूँ बच्चों को आफ्टर केयर में ऐसे विकसित किया जाएं कि उन्हें कभी बाल गृह में वापस आने की आवश्कयता ना हो. वो इतने जागरूक और सक्षम बन सकें कि वो आत्मनिर्भर रह सके. राजेंद्र शिक्षा एवं समाज कल्याण संस्थान के निदेशक ने बताया कि एसबीआई की सीएसआर एक्टिविटी की मदद से राजेंद्र इंस्टिट्यूट तकनिकी सुविधाओं से लैश ट्रेनिंग केंद्र सफल रूप से स-समय बना पाई।
बता दें, बिहार के बाल देखरेख संस्थानों में रह रहे 16 वर्ष से अधिक उम्र के बालक बालिकाओं के लिए "नव सृजन" मिशन के अंतर्गत तकनिकी एवं व्यावसायिक शिक्षा प्रदान की जाएगी, जिससे बच्चे भविष्य में स्वरोजगार अथवा प्लेसमेंट के जरिए अपना जीवन बेहतर कर सकें. फिलहाल नव सृजन मिशन के तहत ब्यूटिशियन कोर्स के पहले बैच के लिए 20 बालक बालिकाओं का चयन किया गया. जिनकी ट्रेनिंग लगभग 3-4 महीनों में खत्म हो जाएगी. कार्यक्रम के प्रथम वर्ष में 240 बालक-बालिकाओं को ट्रैन करने का लक्ष्य है.
आपको बता दें कि राजेंद्र शिक्षा एवं समाज कल्याण संस्थान राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित राष्ट्रीय स्तर का सामाजिक विकास को समर्पित स्वैच्छिक संगठन है। दिनांक 15 नवंबर 1973 अपने स्थपना दिवस से निरंतर वंचित समुदायों, विशेष रूप से महिलाओं, युवाओं तथा बच्चों के उत्थान हेतु क्रियाशील संस्थान, वर्ष 2023 को “स्वर्ण जयंती” के रूप में मना रहा है।