Farmers' Protest ends: चंडीगढ़ में किसानों का धरना खत्म; पंजाब सरकार और राज्यपाल के साथ बैठक के बाद लिया यह फैसला

Rozanaspokesman

राष्ट्रीय, चंडीगढ़

यहां किसानों ने कृषि मंत्री गुरमीत खुड़िया के सामने अपनी मांगें रखीं. 19 दिसंबर को किसानों की मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ बैठक होगी.

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Farmers' Protest ends:  पंजाब और हरियाणा के किसानों ने धरना खत्म करने का ऐलान कर दिया है. किसान नेताओं ने कहा कि बैठक में पंजाब के राज्यपाल बनवारी लाल पुरोहित एम.एस.पी. सहित अन्य मांगों को पूरा करने का आश्वासन दिया है इससे पहले पंजाब सरकार ने सुबह किसानों को बातचीत के लिए बुलाया था. इस बीच, किसान खुशी-खुशी अपने घर चले गए हैं।

यहां किसानों ने कृषि मंत्री गुरमीत खुड़िया के सामने अपनी मांगें रखीं. 19 दिसंबर को किसानों की मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ बैठक होगी. इसमें संबंधित विभाग के अधिकारियों को भी आमंत्रित किया जाएगा. इसके साथ ही पंचकुला में किसानों ने राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय से मुलाकात कर धरना खत्म करने का ऐलान किया है. 11 दिसंबर को संयुक्त किसान मोर्चा हरियाणा के नेता बैठक कर रणनीति बनाएंगे. किसानों का कहना है कि वे तब तक इंतजार करेंगे.

संयुक्त किसान मोर्चा नें राज्यपाल के सामने रखीं  है ये मांगे

1. सभी फसलों का एमएसपी C2+50% फॉर्मूले के साथ खरीद गारंटी कानून बनाया जाए। लागत कम करने के लिए बीज, उर्वरक और बिजली सब्सिडी में बढ़ोतरी की जाए।

2. किसानों और मजदूरों की आत्महत्या एक कड़वी सच्चाई है। इसे रोकने के लिए किसानों और मजदूरों पर लगे संपूर्ण कर्ज को माफ किया जाना चाहिए।

3. विद्युत क्षेत्र निजीकरण विद्युत (संशोधन) विधेयक-2022 को निरस्त किया जाए। इस नीति के तहत लगाए जा रहे प्रीपेड मीटर (स्मार्ट चिप मीटर) लगाना बंद किया जाए।

4. देशभर में खाद्य सुरक्षा की गारंटी के साथ-साथ सार्वजनिक वितरण प्रणाली को मजबूत किया जाए.

5. कॉरपोरेट समर्थक प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के स्थान पर सूखा, बाढ़, ओलावृष्टि या बीमारी से बर्बाद हुई फसलों के नुकसान के लिए सरल एवं किसान हितैषी बीमा योजना लागू की जाए, जिसकी सभी किस्तें सरकार किसानों को ही दे । 

6. 60 वर्ष से अधिक उम्र के किसान पुरुषों और महिलाओं को 10 हजार रुपये मासिक पेंशन दी जाए.

7.लखीमपुर खीरी घटना के शहीदों को न्याय मिले. केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी को मंत्री पद से हटाकर मुकदमा चलाया जाना चाहिए।

8. किसान संघर्ष के दौरान रेलवे समेत किसानों व नेताओं पर दर्ज सभी मुकदमे रद्द किए जाएं।

9. आंदोलन के दौरान शहीद हुए किसानों के रह गए बाकी परिवारों को मुआवजा और रोजगार दिया जाए.

10. न्यूज़क्लिक के ख़िलाफ़ दर्ज मुक़दमा रद्द किया जाए। यूएपीए को ख़त्म किया जाना चाहिए.