पुस्तक से मौलाना आजाद का उल्लेख हटाना देश के लिए शर्मनाक : थरूर

Rozanaspokesman

राष्ट्रीय, दिल्ली

कहा कि यह हमारे विविध लोकतंत्र और इसके गौरवशाली इतिहास के लिए पूरी तरह से अनुचित है।

Removal of Maulana Azad from book a shame for the country: Tharoor

New Delhi: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने राष्ट्रीय शिक्षा अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) की 11वीं कक्षा की राजनीतिक विज्ञान की पाठ्यपुस्तक से स्वतंत्रता सेनानी मौलाना अबुल कलाम आजाद का उल्लेख हटाए जाने को शुक्रवार को देश के लिए ‘शर्मनाक’ बताया और कहा कि यह हमारे विविध लोकतंत्र और इसके गौरवशाली इतिहास के लिए पूरी तरह से अनुचित है।

उन्होंने ट्वीट किया, " कितनी शर्मिंदगी की बात है! मुझे इस बात में कोई आपत्ति नहीं है कि उन व्यक्तित्वों को ऐतिहासिक विमर्श में शामिल किया जाए जिनका पहले उल्लेख नहीं हो पाया था, लेकिन गलत कारणों से लोगों का उल्लेख मिटाना हमारे विविध लोकतंत्र और इसके गौरवशाली इतिहास के लिए पूरी तरह से अनुचित है।"

उल्लेखनीय है कि राष्ट्रीय शिक्षा अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) की 11वीं कक्षा की राजनीतिक विज्ञान की पाठ्यपुस्तक से स्वतंत्रता सेनानी एवं देश के प्रथम शिक्षा मंत्री मौलाना अबुल कलाम आजाद के उल्लेख को हटा दिया गया है। पिछले वर्ष पाठ्यक्रम को युक्तिसंगत बनाने और कुछ अंशों के अप्रसांगिक होने के आधार पर एनसीईआरटी ने गुजरात दंगों, मुगल दरबार, आपातकाल, शीत युद्ध, नक्सल आंदोलन आदि कुछ अंशों को पाठ्यपुस्तक से हटा दिया था।