विपक्षी पार्टियों की बैठक से पहले अरविंद केजरीवाल ने लिखा पत्र, 'सबसे पहले अध्यादेश पर हो चर्चा '.
20 जून को लिखे पत्र में केजरीवाल ने कहा, 'केंद्र ने यह अध्यादेश लाकर दिल्ली में एक प्रयोग किया है।
नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने 23 जून को पटना में गैर-भाजपा दलों की बैठक से पहले राष्ट्रीय राजधानी में प्रशासनिक सेवाओं को नियंत्रित करने के केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा की अपील की है. इस संबंध में केजरीवाल ने विपक्षी दलों को पत्र लिखा है। केजरीवाल ने कहा कि आज जो दिल्ली में हो रहा है कल दूसरे राज्यों में हो सकता है.
बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल (यूनाइटेड) के नेता नीतीश कुमार ने 2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को साधने के लिए साझा रणनीति बनाने के लिए शुक्रवार को विपक्षी दलों की बैठक बुलाई है. आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक केजरीवाल ने जोर देकर कहा कि बैठक में केंद्र द्वारा राज्यसभा में अध्यादेश विधेयक को प्राथमिकता के आधार पर पारित नहीं करने पर चर्चा होनी चाहिए.
20 जून को लिखे पत्र में केजरीवाल ने कहा, 'केंद्र ने यह अध्यादेश लाकर दिल्ली में एक प्रयोग किया है। अगर यह सफल होता है तो ऐसे अध्यादेश उन राज्यों में लाए जाएंगे जहां भाजपा की सरकार नहीं है... राज्यों की शक्तियां छीन ली जाएंगी। केजरीवाल ने कहा कि वह दिन दूर नहीं जब प्रधानमंत्री 33 राज्यों में उपराज्यपालों और राज्यपालों के जरिए शासन करेंगे।
बता दें कि केंद्र ने 19 मई को दिल्ली में ग्रुप-ए के अधिकारियों के ट्रांसफर और पोस्टिंग पर एक प्राधिकरण स्थापित करने के लिए एक अध्यादेश जारी किया था। आम आदमी पार्टी ने इसे सेवाओं पर नियंत्रण से जुड़े सुप्रीम कोर्ट के फैसले के साथ विश्वासघात करार दिया। अध्यादेश के बाद केजरीवाल इसके खिलाफ समर्थन जुटाने के लिए लगातार गैर बीजेपी पार्टियों के नेताओं से संपर्क कर रहे हैं ताकि संसद में बिल पास न हो सके.