हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के महाविद्यालयों में एक अन्य मूल्यांकन के बाद उत्तीर्ण प्रतिशत 4.38 अंक बढ़ा
डीन ऑफ स्टडीज कुलभूषण चंदेल ने कहा कि इसका तात्पर्य है कि परिणाम में आंशिक सुधार आया है क्योंकि पिछले परिणाम के अलावा 4.38 प्रतिशत ...
शिमला : खराब परीक्षा परिणाम को लेकर विद्यार्थियों के प्रदर्शन करने के बाद, पुन: मूल्यांकन में हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय (एचपीयू) के संबद्ध महाविद्यालयों के बीए (कला स्नातक), बीएससी (विज्ञान स्नातक) और बीकॉम (वाणिज्य स्नातक) के प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राओं का उत्तीर्ण प्रतिशत 4.38 प्रतिशत अंक बढ़ गया है।
बीएससी के 31 , बीए के 57 और बीकॉम के 58 निम्न उत्तीर्ण प्रतिशत के चलते विद्यार्थियों ने प्रदर्शन किया था और उन्होंने इसके लिए ऑनलाइन मूल्यांकन प्रणाली को जिम्मेदार ठहराया था।
प्रति-कुलपति ने इस मामले की जांच एवं गलतियों का पता लगाने के लिए पांच सदस्यीय तथ्यान्वेषी समिति बनायी थी। पहले और तीसरे मूल्यांकन के उत्तीर्ण परिणाम में 4.38 प्रतिशत अंक का अंतर सामने आया है जो मामूली अंतर है।
डीन ऑफ स्टडीज कुलभूषण चंदेल ने कहा कि इसका तात्पर्य है कि परिणाम में आंशिक सुधार आया है क्योंकि पिछले परिणाम के अलावा 4.38 प्रतिशत और विद्यार्थी तृतीय पक्ष मूल्यांकन में पास हो गये हैं।
तथ्यान्वेषी समिति के अगुवा चंदेल ने कहा कि रिपोर्ट में सामने आया कि पर्यावरण विज्ञान तथा भाषा के प्रश्नपत्रों में विद्यार्थियों का बहुत खराब प्रदर्शन रहा और पर्यावरण विज्ञान में विद्यार्थियों को पांच फीसद अनुग्रह अंक दिया गया है क्योंकि ज्यादातर महाविद्यालयों में विषय के शिक्षक नहीं थे।