अंकिता हत्याकांड: अदालत ने सीबीआई जांच के अनुरोध वाली याचिका की खारिज
उच्च न्यायालय ने यह भी कहा कि इस मामले में किसी वीआईपी का बचाव नहीं किया जा रहा है, जैसा कि याचिका में आरोप लगाया गया है।
नैनीताल : उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने अंकिता भंडारी हत्याकांड की केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) से जांच के अनुरोध वाली याचिका बुधवार को खारिज कर दी। न्यायमूर्ति संजय कुमार की एकल न्यायाधीश वाली पीठ ने यह कहते हुए याचिका खारिज कर दी कि एक विशेष जांच दल (एसआईटी) पहले से ही मामले की जांच कर रहा है और इस पर संदेह नहीं किया जाना चाहिए।
उच्च न्यायालय ने यह भी कहा कि इस मामले में किसी वीआईपी का बचाव नहीं किया जा रहा है, जैसा कि याचिका में आरोप लगाया गया है।
पौड़ी गढ़वाल निवासी आशुतोष नेगी ने याचिका दायर करके दावा किया था कि पुलिस और एसआईटी इस मामले में अहम सबूत छिपा रही है। याचिका में कहा गया था कि एसआईटी ने अभी तक पीड़िता की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की है।.
अंकिता भंडारी (19) ऋषिकेश के पास वनंतरा रिसॉर्ट में एक रिसेप्शनिस्ट के रूप में काम करती थी और उसके मालिक पुलकित आर्य और उसके दो साथियों द्वारा उसे कथित तौर पर तब मार डाला गया था, जब उसने रिसॉर्ट में आने वाले एक वीआईपी को "अतिरिक्त सेवाएं" देने के लिए उनके दबाव में आने से इनकार कर दिया था। अंकिता की हत्या को लेकर लोगों में काफी आक्रोश उत्पन्न हुआ था।