कांग्रेस और अपने लिए नहीं, देश की जनता के लिए निकाली यात्रा: राहुल गांधी

Rozanaspokesman

राज्य

राहुल गांधी ने उन पलों को याद किया, जब उन्हें फोन पर उनकी दादी इंदिरा गांधी और पिता राजीव गांधी की हत्या की सूचना मिली थी।

Yatra taken out for the people of the country, not for the Congress and myself: Rahul

श्रीनगर : कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर निशाना साधते हुए सोमवार को कहा कि देश की बुनियाद को ध्वस्त करने का प्रयास करने वाली विचारधारा के खिलाफ सबको खड़ा होना है।

‘भारत जोड़ो यात्रा’ के समापन के बाद ‘शेर-ए-कश्मीर स्टेडियम’ में आयोजित रैली में कांग्रेस के शीर्ष नेता ने यह भी कहा कि उन्होंने यह यात्रा पार्टी और खुद के लिए नहीं, बल्कि देश की जनता निकाली। राहुल गांधी ने कहा कि उनके परिवार ने उन्हें निडर होकर जीना सिखाया है और यही वजह है कि उन्होंने कश्मीर घाटी में पदयात्रा की, जहां लोगों ने उन्हें ‘हैंड ग्रेनेड’ नहीं, बल्कि दिल खोलकर प्यार दिया। 

उन्होंने रैली में कहा, ‘‘हमारे कांग्रेसी मित्रों को ये अच्‍छा न लगे, मगर मैंने ये काम (यात्रा) कांग्रेस पार्टी के लिए नहीं किया है। मैंने ये काम और हम सबने ये काम हिन्‍दुस्‍तान की जनता के लिए किया है और हमारी कोशिश है कि जो विचारधारा इस देश की नींव को तोड़ने की कोशिश कर रही है, उसके खिलाफ हम खड़े हों, मिलकर खड़ें हों, नफ़रत से नहीं, बल्कि मोहब्‍बत से खड़े हों।’’

उन्होंने कहा, ‘‘अगर हम मोहब्‍बत से खड़े होंगे, प्‍यार से बात रखेंगे तो हमें सफलता मिलेगी और उनकी जो विचारधारा है, उसको हम सिर्फ हराएंगे नहीं, बल्कि उस विचारधारा को हम उनके दिलों से निकाल देंगे।’’. उनकी यह रैली शहर में भारी हिमपात के बावजूद आयोजित की गई। 

राहुल गांधी के अनुसार, उन्हें सुरक्षाकर्मियों और कुछ अन्य लोगों द्वारा कश्मीर में पदयात्रा की बजाय वाहन में यात्रा की सलाह दी गई थी।

उन्होंने कहा, ‘‘मैंने सोचा कि जब मैं अपने घर वापस जा रहा हूं, 4 दिन पैदल चलूंगा, तो लोग मुझसे नफ़रत करते हैं, उनको क्यों न मैं एक मौका दूं कि मेरी सफेद शर्ट का रंग बदल दें, लाल कर दें। मेरे परिवार ने मुझे सिखाया है, गांधी जी ने मुझे सिखाया है कि अगर जीना है, तो डरे बिना जीना है, नहीं तो जीना नहीं है।’’.

राहुल गांधी ने कहा, ‘‘जो मैंने सोचा था, वही हुआ। जम्मू-कश्मीर के लोगों ने मुझे हैंड ग्रेनेड नहीं दिया, अपने दिल खोलकर प्यार दिया, गले लगे और मुझे बहुत खुशी हुई कि उन सबने मुझे अपना माना और प्यार से, बच्चों ने, बुजुर्गों ने आंसुओं से मेरा यहां स्वागत किया।’’.

उन्होंने दावा किया कि भाजपा का कोई भी नेता कश्मीर में यात्रा नहीं निकाल सकता, क्योंकि वो डरते हैं।

राहुल गांधी ने उन पलों को याद किया, जब उन्हें फोन पर उनकी दादी इंदिरा गांधी और पिता राजीव गांधी की हत्या की सूचना मिली थी। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि हिंसा भड़काने वाले कभी भी उस दर्द को नहीं समझ पाएंगे।.

उन्होंने कहा, "जो लोग हिंसा भड़काते हैं - जैसे मोदीजी, अमित शाहजी, भाजपा और आरएसएस - वे इस दर्द को कभी नहीं समझेंगे। सेना के किसी जवान का परिवार यह समझेगा, पुलवामा में शहीद हुए सीआरपीएफ जवानों का परिवार यह समझेगा, कश्मीर के लोग समझेंगे कि वह दर्द क्या होता है।’’

राहुल गांधी ने कहा कि उनकी ‘‘यात्रा का मकसद अपने प्रियजनों की मौत की खबर देने वाले फोन कॉल को समाप्त करना है - चाहे वह कोई सैनिक हो, सीआरपीएफ का जवान हो या कोई कश्मीरी हो।"

कांग्रेस नेता ने भाजपा के शीर्ष नेताओं को उनकी तरह जम्मू-कश्मीर में यात्रा करने की चुनौती देते हुए कहा कि वे लोग कभी भी ऐसा नहीं करेंगे, क्योंकि वे भयभीत हैं। उन्होंने कहा, "मैं आपको गारंटी दे सकता हूं कि भाजपा का कोई भी नेता जम्मू-कश्मीर में इस तरह पैदल नहीं चल सकता। वे ऐसा नहीं करेंगे, इसलिए नहीं कि उन्हें इसकी अनुमति नहीं दी जाएगी, बल्कि इसलिए कि वे डरते हैं।".