जॉनसन ने प्रतिक्रिया स्वरूप कड़े शब्दों में एक बयान जारी किया और कहा, ‘‘यह लोकतंत्र के लिए भयावह दिन है।’’
लंदन : ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने डाउनिंग स्ट्रीट में कोविड-19 संबंधी नियमों को तोड़कर आयोजित की गई पार्टियों की जानकारी होने से इनकार करके संसद को ‘जानबूझकर गुमराह’ किया था। संसद की एक सर्वदलीय समिति ने बृहस्पतिवार को अपनी रिपोर्ट में यह दावा किया। डाउनिंग स्ट्रीट ब्रिटिश प्रधानमंत्री का आधिकारिक कार्यालय और आवास है।
संसद की विशेषाधिकार समिति (कॉमन्स प्रिविलेजेस कमेटी) ने पार्टीगेट स्कैंडल में अपनी अंतिम रिपोर्ट जारी की है। इससे कुछ दिन पहले 58 वर्षीय जॉनसन ने समिति के सदस्यों पर अपने पीछे पड़ जाने का आरोप लगाते हुए संसद सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था।
समिति ने जॉनसन को संसद के नियमों का उल्लंघन करने के लिए जिम्मेदार ठहराया और समिति की ईमानदारी को लेकर जॉनसन के आरोपों पर उनकी निंदा की। समिति ने सिफारिश की थी कि यदि जॉनसन संसद से इस्तीफा नहीं देते तो उन्हें 90 दिन के लिए निलंबित किया जाए। समिति की रिपोर्ट में कहा गया, ‘‘हम इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि जॉनसन ने जानबूझकर संसद को गुमराह करके गंभीर अवमानना की है। अवमानना इसलिए और अधिक गंभीर थी क्योंकि इसे प्रधानमंत्री ने किया था जो सरकार के सबसे वरिष्ठ सदस्य होते हैं।’’
समिति ने कहा कि इस तरह का इतिहास में कोई मामला नहीं देखा गया है जब किसी ब्रिटिश प्रधानमंत्री को जानबूझकर संसद को गुमराह करने के लिए जिम्मेदार पाया गया हो।
जॉनसन ने प्रतिक्रिया स्वरूप कड़े शब्दों में एक बयान जारी किया और कहा, ‘‘यह लोकतंत्र के लिए भयावह दिन है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘इस निर्णय का मतलब है कि कोई सांसद एक अल्पमत वाले उस समूह के मनगढ़ंत आरोपों के आधार पर प्रतिशोध की कार्रवाई का शिकार होने या निष्कासन से मुक्त नहीं है जो उसकी संसद सदस्यता जाते हुए देखना चाहता है।’’
जॉनसन ने कहा, ‘‘मैं संसद की रत्ती भर भी अवमानना नहीं करता।’’ पूर्व प्रधानमंत्री संसद में पूछे जाने पर बार-बार इस बात से इनकार करते रहे कि कोविड-19 संबंधी लॉकडाउन के नियम सरकारी कक्षों में तोड़े गये थे। कंजर्वेटिव पार्टी के नेता जॉनसन ने समिति की अंतिम रिपोर्ट के मसौदे को देखने के बाद पिछले सप्ताह संसद की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था।