खांसी का सीरप पीने से मौत: केंद्र, UP औषधि विभाग ने दवा कंपनी कार्यालय का किया निरीक्षण

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खांसी का सीरप पीने से मौत: केंद्र, UP औषधि विभाग ने दवा कंपनी कार्यालय का किया निरीक्षण
Published : Dec 29, 2022, 3:59 pm IST
Updated : Dec 29, 2022, 3:59 pm IST
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Death by drinking cough syrup: Centre, UP drug department inspects pharmaceutical company office
Death by drinking cough syrup: Centre, UP drug department inspects pharmaceutical company office

केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) ने उज्बेकिस्तान में 18 बच्चों की मौत के मामले का मैरियन बायोटेक से संबंध होने की जांच शुरू कर दी है।

नोएडा : विभिन्न केंद्रीय एजेंसियों और उत्तर प्रदेश के औषधि विभाग के एक दल ने बृहस्पतिवार को नोएडा स्थित उस दवा कंपनी के कार्यालय का निरीक्षण किया, जिसकी खांसी की दवा कथित तौर पर पीने के बाद उज्बेकिस्तान में 18 बच्चों की मौत हो गई थी। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

राज्य सरकार के एक अधिकारी ने बताया कि मैरियन बायोटेक कंपनी भारत में खांसी की दवा ‘डॉक -1 मैक्स’ नहीं बेचती और इसका निर्यात केवल उज्बेकिस्तान को किया गया है। गौतम बुद्ध नगर के औषधि निरीक्षक वैभव बब्बर ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि नोएडा सेक्टर 67 स्थित मैरियन बायोटेक के कार्यालय में बृहस्पतिवार को सुबह निरीक्षण शुरू किया गया।

केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) ने उज्बेकिस्तान में 18 बच्चों की मौत के मामले का मैरियन बायोटेक से कथित तौर पर संबंध होने की जांच शुरू कर दी है।

उज्बेकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने दावा किया है कि इन 18 बच्चों ने खांसी की दवा पी थी।.

मैरियन बायोटेक के कानूनी मामलों के प्रतिनिधि हसन हैरिस ने कहा कि दोनों देशों की सरकारें इस मामले की जांच कर रही हैं।. हैरिस ने कहा, ‘‘हमारी ओर से कोई समस्या नहीं है और जांच में कोई गड़बड़ नहीं है। हम पिछले 10 वर्ष से काम कर रहे हैं। सरकार की रिपोर्ट आने के बाद हम इस पर गौर करेंगे। फिलहाल (दवा का) निर्माण बंद कर दिया गया है।’’.

बब्बर ने कहा कि केंद्र के एक दल ने 27 दिसंबर को निरीक्षण किया था जिसमें जांच के लिए पांच दवाओं के नमूने लिए गए थे।. उन्होंने कहा, ‘‘जांच का एक और दौर लंबित है, जिसके लिए हम आज यहां आए हैं।’’. औषधि निरीक्षक ने कहा, ‘‘कंपनी का कोई घरेलू बाजार नहीं है और यह केवल उज्बेकिस्तान के बाजार के लिए निर्यात करती है। भारत में कोई उत्पाद (डॉक-1 मैक्स) नहीं बेचा गया है।’’.

उन्होंने कहा कि कंपनी का संचालन वर्तमान में चालू है और उनके पास सभी अनिवार्य लाइसेंस और अनुमोदन हैं, जिसमें केंद्र द्वारा निर्यात के लिए दिया जाने वाला औषधि उत्पाद प्रमाण पत्र (सीओपीपी) भी शामिल है।.

बब्बर ने कहा, ‘‘अब यह पता लगाने के लिए जांच जारी है कि उन्होंने कच्चा माल कहां से खरीदा और इसका इस्तेमाल कहां किया गया।’’.

उन्होंने कहा कि कंपनी 2010 से काम कर रही है।. इस बीच, जब ‘पीटीआई-भाषा’ ने मैरियन बायोटेक की वेबसाइट देखनी चाही, तो वह बृहस्पतिवार सुबह खुली नहीं और उसके होमपेज पर संदेश लिखा आ रहा था, ‘‘डेटाबेस कनेक्शन स्थापित करने में त्रुटि।’’.

Location: India, Uttar Pradesh, Noida

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