9 अगस्त 1942 को अंग्रेजों भारत छोड़ो का नारा दिया था जिसे क्रांति दिवस के रूप में मनाया जाता है.
Bihar News: पटना सिटी- सिखों ने क्रांति दिवस के अवसर पर पटना साहिब के मुख्य द्वार से तिरंगा यात्रा शहीद भगत सिंह चौक तक भारत माता की जय, वंदे मातरम का नारा लगाते हुए निकला. वहां पहुंचकर शहीदे आजम भगत सिंह जी के मूर्ति पर पुष्पांजलि अर्पित की. इस अवसर पर श्री सनातनी सिख सभा के अध्यक्ष त्रिलोक सिंह निषाद ने कहा कि भारत माता की आजादी के लिए राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी ने 9 अगस्त 1942 को अंग्रेजों भारत छोड़ो का नारा दिया था जिसे क्रांति दिवस के रूप में मनाया जाता है.
महात्मा गांधी जी के आवाहन पर पूरे देश में क्रांति की लहर फैल गई मजबूरन अंग्रेजों को भारत छोड़ना पड़ा और 1947 में हमारा देश आजाद हुआ. आजादी के लिए सभी समुदायों ने मिलजुल कर संघर्ष किया और कुर्बानियां दी सिखों का इतिहास रहा है. भारत माता के संस्कृति सभ्यता और हिंदू धर्म को बचाने के लिए गुरु गोविंद सिंह महाराज ने अपने पिता चारों पुत्रों और अपनी माता को शहीद कराया उनके साथ-साथ हजारों सिखों ने कुर्बानी दी देश के लिए शहीद ए आजम भगत सिंह और उधम सिंह ने अपनी शहादत देश आजादी की बात करें तो अंग्रेजों द्वारा 121 को फांसी की सजा दी जिसमें 93 सिख 2626 आजीवन कारावास में 2147 सिख जलियांवाला बाग के बात करें तो 1300 शहीदों में 799 सिखों ने अपनी कुर्बानी और शहादत दी.
उस समय सिखों की आबादी मात्र 1.5 प्रतिशत थी और 90% कुर्बानियां दी जो भारतीय इतिहास में दर्ज है आज के तिरंगा यात्रा में गोविंद Sena के अध्यक्ष राजेश सिंह अकाली महासचिव दया सिंह सेवादार समाज कल्याण समिति के संयोजक दिलीप सिंह पटेल , सूरज सिंह, रणजीत सिंह, विजय सिंह, मेजर सिंह, हरनाम सिंह, जोगिंदर सिंह, शोभारत सिंह, संजय सिंह ड्राइवर, चंद्रशेखर सिंह, तारा सिंह, जसपाल सिंह ,शेर सिंह एवं अन्य शामिल थे.
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