इस ई.- चलन्त चिकित्सालय में एक चलन्त लैब लगाने का भी प्रावधान किया गया है जो खून आदि का जांच कर रिपोर्ट प्रदान करेगा।
Bihar News: केंद्रीय राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे स्थानीय राजकीय अतिथिशाला में विश्वामित्र ई. - चलन्त चिकित्सालय (ई-मोबाइल क्लिनिक/रोगी वाहन) के पी.ओ.सी. (प्रूफ ऑफ़ कांसेप्ट) स्टडी का शुभारम्भ किया जो शत प्रतिशत प्रदुषण रहित, इको फ्रेंडली एवं लो कॉस्ट पर आधारित ई-रिक्शा को संशोधित कर ई.-चलन्त चिकित्सालय बनाया गया है ।
जल्द ही पिओसी उपरान्त बक्सर लोकसभा के प्रत्येक पंचायत को अपना ई- चलन्त चिकित्सालय मिल जाएगा और चिकित्सा चिकित्सक आपके द्वार को और गति मिलेगी। मंत्री चौबे ने बताया की आज मोबाइल मेडिकल यूनिट एवं रोगी वाहनों की आवश्यकता पंचायत स्तर पर है जिसे पूर्ण करने की दिशा में कदम उठाने की जरुरत है। साथ ही शत प्रतिशत प्रदुषण मुक्त एवं इको फ्रेंडली वहानों की भी आवश्यकता है जो कार्बन डाइऑक्साइड और अन्य जहरीली गैसों से रहित हो। ई.- रिक्शा आने वाले समय में छोटे प्राथमिक उपचार एवं रोगी वहानों के रूप में ग्रामीण स्तर पर कार्य कर सकता है। इस उद्देश्य से e-रिक्शा को संशोधित कर ई.- चलन्त चिकित्सालय सह रोगी वाहन बनाकर पंचायतों में इसका उपयोग करने से ससमय लोगों को प्राथमिक चिकित्सा प्रदान की जा सकती है साथ ही उन्हें निकटस्थ प्राथमिक / अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ केंद्र या ब्लाक /सादर अस्पताल भी पहुँचाया जा सकता है जो समय की मांग भी है।
इसी दिशा में सभी मॉडर्न उपकारणों से सुसज्जित ई.- मोबाइल क्लिनिक को बनाकर इसके माध्यम से टेलीमेडिसिन सुविधा जिसमे डाक्टर द्वारा मरीज को वीडियो के माध्यम से देखकर इलाज किया जाएगा, साथ ही तकनिकी व्यक्ति द्वारा त्वरित बीपी, पल्स मॉनिटर, ग्लूकोमीटर एवं अन्य उपकारणों द्वारा रोगियों का जांच किया जाएगा। इस ई.- चलन्त चिकित्सालय में एक चलन्त लैब लगाने का भी प्रावधान किया गया है जो खून आदि का जांच कर रिपोर्ट प्रदान करेगा।
यही नहीं, 2025 तक विश्व से टीबी उन्मूलन की दिशा में कारगर स्क्रीनिंग जांच भी इस एमएमयू के माध्यम से ग्रामीण स्तर पर लोगों को उनके घर पर ही उपलब्ध होग़ा। इस e-रिक्शा को भारत सरकार द्वारा अधिकृत आईकैट संस्था (इंटरनेशनल सेंटर फॉर ऑटोमोटिव टेक्नोलॉजी) से प्रमाणित कराकर ई. - मोबाइल क्लिनिक (एमएमयू / रोगी वाहन) के रूप में उपयोग कर लाखों लोगों के द्वार पर चिकित्सा उपलब्ध कराया जाएगा। मंत्री चौबे ने कहा की प्रदुषण रहित वातावरण में "चिकित्सा- चिकित्सक, आपके द्वार " कार्यक्रम के माध्यम से हर व्यक्ति को स्वास्थ्य सुविधा मुहैया कराने की दिशा में एक सार्थक कदम लिया जा रहा है जिसका बक्सर संसदीय क्षेत्र सहित बिहार एवं देश के विभिन्न ज़िलों में प्रूफ आफ कांसेप्ट स्टडी पूरा कर पायलट किया जाएगा एवं नविन तकनिकों का उपयोग कर "लो कॉस्ट" चलन्त चिकित्सा वाहन जनता को समर्पित होग़ा।
इसके पूर्व पिछले 3 वर्षों से बक्सर में 6 बड़े एमएमयू विंगर वाहन में चालू है जिससे लाखों लोगों का प्राथमिक जांच एवं उपचार चल रहा है। कोरोना के समय में चलन्त मोटरसाइकिल - लाबाईक द्वारा लैब से रक्त आदि की जांच एवं कोरोना का एंटीजन माध्यम से स्क्रीनिंग कराया जा चूका है।