जबरन जमीन अधिग्रहण के विरोध में रैयतों का धरना

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जबरन जमीन अधिग्रहण के विरोध में रैयतों का धरना
Published : Feb 16, 2023, 5:49 pm IST
Updated : Feb 16, 2023, 5:49 pm IST
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Protest of ryots against forcible land acquisition
Protest of ryots against forcible land acquisition

किसान सभा के उपाध्यक्ष एहतेशाम अहमद ने कहा कि इस इलाके के सांसद और विधायक चाहे वे किसी भी दल के हों, रैयतों के...

Ranchi : झारखंड राज्य किसान सभा और आदिवासी अधिकार मंच द्वारा गठित भूमि संघर्ष मोर्चा की ओर से गुरुवार को स्थानीय शहीद स्मारक स्थल पर रैयतों की एक विरोध सभा आयोजित किया गया। इसकी अध्यक्षता झारखंड राज्य किसान सभा के  जिला संयोजक दशरथ मंडल ने किया। तत्पश्चात एक प्रतिनिधिमंडल ने मांगों से संबंधित राज्यपाल के नाम ज्ञापन उपायुक्त को सौंपा। 

सभा को संबोधित करते हुए  माकपा के राज्य सचिव प्रकाश विप्लव ने कहा कि ईसीएल प्रबंधन और गोड्डा जिला प्रशासन राजमहल कोल परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण के मामले मे अराजक भूमिका अदा कर रहा है। इसके चलते तालझारी मौजा समेत कई जगह रैयत और किसान आक्रोशित हो रहें हैं। बावजूद जिला प्रशासन  रैयतों को और ग्रामीण महिलाओं को अपमानित कर मामले को और उलझा रहा है। इतना ही नहीं उनपर बल प्रयोग भी कर रही है। ईसीएल का दावा है कि उसने तालझारी मौजा मे 125 एकड़ जमीन अधिग्रहण किया है लेकिन इसमें पारदर्शिता नहीं बरती गई। क्योंकि यहां के अधिकांश रैयतों का कहना है कि उन्हें अधिग्रहण से संबंधित कोई नोटिस ही नहीं मिला है। ईसीएल तो स्वयं अब आऊट सोर्सिंग पर निर्भर है । इसलिए रैयतों से सीधे बातचीत भी नहीं कर रहा है। न ही आउटसोर्सिंग कंपनी मां अंबे जिला प्रशासन का इस्तेमाल कर रैयतों पर हमले कर रही है। उनपर झूठे मुकदमे दायर कर उन्हें डराने के काम मे लगी हुई है। इसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। 

कहा कि यह सरकार एक ओर अडाणी जैसे धन पशुओं को जो हमारी वित्तीय संस्थानों को खोखला कर रहे हैं। उन्हें संरक्षण प्रदान कर रही है। इस बार का बजट इसका सीधा प्रमाण है कि किस तरह, मनरेगा, आंगनबाड़ी, स्वास्थ्य और शिक्षा के मद मे बजट को घटा दिया गया है और बड़े पूंजीपतियों को टैक्स मे भारी छुट दे दी गई है। 

किसान सभा के उपाध्यक्ष एहतेशाम अहमद ने कहा कि इस इलाके के सांसद और विधायक चाहे वे किसी भी दल के हों, रैयतों के पक्ष मे कुछ नहीं बोल रहें हैं।

आज की इस सभा को बाधित करने के लिए उन्होंने जिला प्रशासन की आलोचना की। सभा को संबोधित करते हुए किसान नेता और जिला परिषद के पूर्व उपाध्यक्ष अशोक साह ने कहा कि रैयतों और किसानों के अधिकारों की रक्षा के लिए किसान सभा आंदोलन को और तेज करेगी। 

इसके अलावा आदिवासी अधिकार मंच के अध्यक्ष सुभाष हेम्ब्रम ,रैयतों के नेता मानवेल हांसदा, प्रेम लाल सोरेन, साईमन मरांडी, सुखदेव हेम्ब्रम, मारामय किस्कू, रघुवीर मंडल समेत कई लोगों ने संबोधित किया।

Location: India, Jharkhand, Ranchi

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