अग्निहोत्री ने कहा कि HRTC के भारे घाटे में होने से वेतन एवं पेंशन के भुगतान में भी विलंब हो रहा है।
शिमला: पर्यटन गतिविधियों के लिए मशहूर हिमाचल प्रदेश में संचालित होने वाली लग्जरी बसों को अब सालाना नौ लाख रुपये का कर चुकाना होगा। राज्य के उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने गुरुवार को यहां संवाददाताओं से कहा कि करीब 250 लग्जरी बसें हिमाचल प्रदेश में आवाजाही करती हैं लेकिन किसी भी तरह का कर नहीं देती हैं। इसे देखते हुए उन पर नौ लाख रुपये का वार्षिक कर लगाने का फैसला किया गया है।
परिवहन मंत्रालय का भी दायित्व संभालने वाले अग्निहोत्री ने कहा कि इस कदम का मकसद हिमाचल सड़क परिवहन निगम (HRTC) की आमदनी बढ़ाना है। HRTC इस समय 1,355 करोड़ रुपये के घाटे में चल रही है।
उन्होंने कहा कि HRTC की मासिक आय 65 करोड़ रुपये है जबकि मासिक खर्च करीब 134 करोड़ रुपये है। ऐसी स्थिति में 69 करोड़ रुपये का व्यय बोझ राज्य सरकार को ही उठाना पड़ता है।
अग्निहोत्री ने कहा कि HRTC के भारे घाटे में होने से वेतन एवं पेंशन के भुगतान में भी विलंब हो रहा है। हालांकि, उन्होंने परिवहन निगम के कर्मचारियों को आश्वस्त किया कि हर महीने की सात तारीख तक उन्हें वेतन मिल जाएगा।