केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया कि उपभोक्ता आयोगों में ऑनलाइन शिकायत दर्ज करने की सुविधा प्रदान की गई है।
रांची: सांसद संजय सेठ ने लोकसभा में उपभोक्ता फोरम से संबंधित मामलों की संख्या, निपटाए गई शिकायतों की संख्या से संबंधित सवाल रखा। सांसद ने सरकार से यह भी पूछा कि आम जनता के लिए ऐसी क्या व्यवस्था है कि वे आसानी से अपनी शिकायतें यहां दर्ज करा सकें। सांसद ने निपटाए गई शिकायतों का राज्यवार विवरण भी मांगा। झारखंड के संदर्भ में जिलावार ब्यौरा मांगा।
सांसद के सवाल के आलोक में केंद्रीय उपभोक्ता मामले के राज्यमंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने बताया कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 2019 में उपभोक्ता आयोग नामक विशेष अर्ध न्यायिक एजेंसियों के माध्यम से शिकायतों के निवारण का प्रावधान किया गया है। इसकी स्थापना जिला स्तर से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक की गई है।
केंद्रीय मंत्री ने सदन में बताया कि इसके तहत ई फाइलिंग, ई भुगतान और सुनवाई के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग तक की व्यवस्था है। यदि शिकायत दाखिल करने के 21 दिनों के भीतर स्वीकार्यता तक नहीं की जाती है तो शिकायतों की स्वीकार्यता अदालत की निगरानी में मध्यस्थता का भी प्रावधान है।
केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया कि उपभोक्ता आयोगों में ऑनलाइन शिकायत दर्ज करने की सुविधा प्रदान की गई है। जिसके माध्यम से उपभोक्ता शिकायत की सुनवाई, ऑनलाइन भुगतान कर शिकायतों से संबंधित दस्तावेज अपलोड कर देश भर में कहीं भी बैठकर अपनी शिकायतें दर्ज कर सकते हैं। अपनी शिकायतों को ट्रैक कर सकते हैं।
सांसद के सवाल के जवाब में केंद्रीय मंत्री ने बताया कि वर्तमान समय में पूरे देश में 2475369 मामले उपभोक्ता आयोगों में दायर किए गए हैं, जिसमें 1946996 मामलों का निपटारा कर दिया गया है। अब तक 528373 मामले लंबित है।
केंद्रीय मंत्री ने जो आंकड़ा लोकसभा में दिया है उसके अनुसार झारखंड में अब तक 15411 मामले दर्ज किए गए हैं, जिसमें 9374 मामलों का निपटान किया गया और 6037 मामले लंबित हैं। उपभोक्ता आयोग में शिकायत दर्ज कराने के मामले में देशभर में महाराष्ट्र में सबसे अव्वल राज्य है, जहां 343155 मामले दर्ज किए गए और इसमें लगभग 270000 मामलों का निपटारा किया गया। वही दूसरे नंबर पर उत्तर प्रदेश है, जहां 278999 मामले दर्ज किए गए और 180000 मामलों का निपटान किया गया है। तीसरे नंबर पर गुजरात राज्य है, जहां 274836 मामले दर्ज हुए हैं और 240573 मामले निपटाए गए हैं।
शिकायतों के समाधान करने के मामले में गुजरात सबसे अव्वल राज्य है। सबसे कम मामले अंडमान निकोबार में दर्ज हुए हैं जो 525 है और यहां 481 मामलों का निपटारा भी कर लिया गया है।
झारखंड के संदर्भ में सांसद के सवाल पर केंद्रीय मंत्री ने बताया कि विगत 2 वर्षों में झारखंड में 2579 मामलों का निपटारा किया गया है, जिसमें सबसे अधिक मामले बोकारो जिले में निपटाए गए हैं, यहां कुल 578 मामलों का निपटान हुआ है जबकि झारखंड की राजधानी रांची में 262 गए हैं।
सबसे कम मामले साहिबगंज जिले में निपटाए गए हैं, जिनकी संख्या सिर्फ 7 है। केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया की उपभोक्ता आयोग और अधिक सक्रियता से काम करे, इसके लिए कई प्रकार के कदम सरकार द्वारा उठाए गए हैं। कई सुधारात्मक सुझाव भी लोगों से लिए जा रहे हैं।