मामले की जांच एसएसओसी कर रही थी और एक भी जेल अधिकारी का नाम जांच में सामने नहीं आया था।
Fazilka Jail Superintendent News In Hindi: जेल से नशे की तस्करी मामले में कड़ा रुख अपनाते हुए पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने अब इस मामले में स्टेट स्पेशल ऑपरेशन सेल फाजिल्का को पिछले पांच जेल अधीक्षकों की संपत्ति की जांच का आदेश दिया है। अगली सुनवाई पर जेल अधिकारियों के खिलाफ की गई कार्रवाई का ब्योरा सौंपने का भी आदेश दिया है।
जेल में नशा तस्करी की आरोपी महिला की जमानत याचिका सुनवाई के लिए पहुंची थी और इस पर हाई कोर्ट ने याचिका का दायरा बढ़ाते हुए जेलों में नशे को लेकर एडीजीपी जेल को तलब कर लिया था। मामले की जांच एसएसओसी कर रही थी और एक भी जेल अधिकारी का नाम जांच में सामने नहीं आया था। ऐसे में हाई कोर्ट ने एसएसओसी के प्रमुख को तलब कर लिया था और उनकी मौजूदगी में इस मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया था।
लेकिन इस मामले में हाई कोर्ट ने फिर से सुनवाई करने का निर्णय लिया है। इससे पहले सुनवाई पर हाई कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा था कि जेल से 43000 कॉल की गई हैं 9 माह बीत जाने के बाद भी मोबाइल किसने जेल मे पहुंचाया जांच दल के पास इसका जवाब नहीं है। एसएसओसी के सभी अधिकारियों की संपत्ति की जांच करवाएंगे तो शायद ही कोई बचेगा।
हाई कोर्ट ने कहा था कि बर्खास्तगी से कम की सजा पर यह अपराध नहीं रुकने वाले। इंक्रीमेंट रोकने की सजा का कोई मतलब नहीं है, इन्हें वेतन देना बंद कर दोगे तो भी ये काम करते रहेंगे क्योंकि हर माह 20 करोड़ से ऊपर की कमाई है। जेल से नशे का कारोबार चल रहा है, इससे बड़ा और क्या अपराध होगा। कोर्ट ने कहा कि जेल से नशा मिले तो जेलर को करो बर्खास्त, नशा तस्करी का आरोपी बरी हो तो जांच अधिकारी को, तभी यह नेटवर्क टूटेगा। सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने जेल सुप्रीटेंडेंट बलजीत सिंह वैध, करणजीत सिंह संधू, अरविंदर पाल सिंह भट्टी, परविंदर सिंह व गुरनाम लाल की संपत्ति की जांच करने का आदेश दिया है।
(For more news apart from Govt should investigate the property of five officers Fazilka Jail Superintendent high court news in Hindi, stay tuned to Spokesman hindi)