
रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को भ्रामक पाया है। इस मामले में कोई भी साम्प्रदायिक कोण नहीं है।
RSFC (Team Mohali) - सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है। इस वीडियो में एक व्यक्ति को एक रैली के दौरान धार्मिक झंडा पकड़ कर चल रहे लड़के से झंडा छिन्नते हुए देखा जा सकता है। दावा किया जा रहा है कि मामला हरियाणा के पानीपत स्थिति सनौली गांव का है जहां एक विशेष समुदाय के व्यक्ति द्वारा धार्मिक रैली के दौरान एक हिन्दू व्यक्ति से धार्मिक झंडा छीना गया। इस वीडियो को वायरल करते हुए साम्प्रदायिक नफरत फैलाने का प्रयास किया जा रहा है।
X अकाउंट "बैरिस्टर चढ्ढा (घटस्फोट विशेषज्ञ )...???????? (Parody)" ने वायरल वीडियो साझा करते हुए लिखा, "सनौली के पानीपत हरियाणा में, शांतिपूर्ण यात्रा गुजर रही थी अचानक विशेष समुदाय ने हनुमान जी का ध्वज ले जा रहे हिंदू भाईयों पर हमला कर दिया और ध्वज को छीन कर जमीन पर फेंक दिया सोचो अगर ये 50 % हुए देश मे तो क्या होगा"
सनौली के पानीपत हरियाणा में
— बैरिस्टर चढ्ढा (घटस्फोट विशेषज्ञ )...???????? (Parody) (@rana_indrjeet) September 12, 2023
शांतिपूर्ण यात्रा गुजर रही थी अचानक विशेष समुदाय ने हनुमान जी का ध्वज ले जा रहे हिंदू भाईयो पर हमला कर दिया और ध्वज को छीन कर जमीन पर फेंक दिया सोचो अगर ये 50 % हुए देश मे तो क्या होगा pic.twitter.com/PZoUF8ikDH
रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को भ्रामक पाया है। इस मामले में कोई भी साम्प्रदायिक कोण नहीं है।
स्पोक्समैन की पड़ताल
पड़ताल की शुरुआत करते हुए हमने सबसे पहले इस वीडियो को ध्यान से देखा और मामले को लेकर कीवर्ड सर्च के जरिए खबरें ढूंढनी शुरू की।
"मामले में नहीं है साम्प्रदायिक कोण"
हमें मामले से जुडी कई खबरें मिली। खबरों के अनुसार धार्मिक ध्वज को छीन रहा व्यक्ति इस गांव का सरपंच ही था। हिंदी के प्रमुख मीडिया संस्थान अमर उजाला ने मामले को लेकर खबर प्रकाशित करते हुए शीर्षक लिखा, "झंडा विवाद : सरपंच और दूसरे पक्ष के लोगों ने दी पुलिस को शिकायत" इस खबर को आप यहां क्लिक कर पढ़ सकते हैं.
खबर के अनुसार, "सनौली खुर्द गांव में जन्माष्टमी पर ग्रामीणों की ओर से झांकी निकाली जा रही थी। गांव में एक समुदाय के मदरसे के पास लगती गली में बजरंग दल के कुछ युवक जय श्रीराम का झंडा लेकर आ गए। वहीं गांव के सरपंच संजय त्यागी ने बजरंग दल के युवक के हाथ से झंडा ले लिया तो कहासुनी हो गई और विवाद बढ़ गया। इस मामले में बजरंग दल के सदस्यों ने सरपंच पर झंडा छीनने का आरोप लगाया। इसे लेकर रविवार को गांव सनौली खुर्द में आयोजित बजरंग दल और ग्रामीणों की बैठक हुई। पहले शिकायतकर्ता ने शिकायत वापस ले ली तो ग्रामीणों ने आगे आकर एक अन्य शिकायत दी। बजरंग दल के कई सदस्यों ने सरपंच पर सनौली खुर्द थाना में शिकायत देकर झंडा छिनने के आरोप लगाए। इधर सरपंच संजय त्यागी ने रविवार देर शाम को करीब नौ बजे सनौली खुर्द थाने में ही ग्राम पंचायत की तरफ से शिकायत दी।"
आगे बढ़ते हुए हमने इस मामले को लेकर सनौली पुलिस थाने में संपर्क किया। हमारे साथ बात करते हुए सनौली पुलिस थाने के इंस्पेक्टर सुनील कुमार से बात की। सुनील कुमार ने हमारे साथ बात करते हुए कहा, "इस मामले में कोई साम्प्रदायिक कोण नहीं था। जन्माष्टमी की रैली के दौरान कुछ शरारती युवकों ने धार्मिक झंडा लहराते हुए अपमानजनक हरकतें मदरसे के सामने की और उसके बाद सरपंच ने वह झंडा उनसे छीना था। इस मामले में बाद में दोनों पक्षों के बीच समझौता हो गया था।"
निष्कर्ष: रोज़ाना स्पोक्समैन ने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को भ्रामक पाया है। इस मामले में कोई भी साम्प्रदायिक कोण नहीं है। इस मामले में बाद में दोनों पक्षों के बीच समझौता हो गया था।