Post Matric Scholarship Controversy: अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों को सालों से लटकी डिग्री व डीएमसी मिलने का रास्ता साफ

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Post Matric Scholarship Controversy: अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों को सालों से लटकी डिग्री व डीएमसी मिलने का रास्ता साफ
Published : Nov 6, 2024, 7:35 pm IST
Updated : Nov 6, 2024, 7:35 pm IST
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Post Matric Scholarship Controversy Punjab university news in hindi
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पंजाब सरकार परीक्षा फीस का दो सप्ताह में करेगी भुगतान, पीयू एक सप्ताह में जारी करेगी डिग्री

Post Matric Scholarship Controversy News In Hindi: पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप के तहत पंजाब यूनिवर्सिटी से मान्यता प्राप्त सरकारी कॉलेजों में पढ़ने वाले अनुसूचित जाति के हजारों विद्यार्थियों की डिग्री व डीएमसी मिलने का रास्ता साफ हो गया है। पंजाब सरकार ने बताया कि परीक्षा फीस के 27081915 रुपये का दो सप्ताह के भीतर भुगतान होगा, पीयू ने कहा कि भुगतान के एक सप्ताह के भीतर डिग्री व डीएमसी जारी कर दिए जाएंगे।

याचिका दाखिल करते हुए जनक राज व अन्य ने हाईकोर्ट को बताया था कि उन्होंने 2022 से 2024 के बीच अपनी डिग्री पूरी कर ली है। डिग्री पूरी होने के बावजूद न तो उनका परीक्षा परिणाम जारी किया गया और न ही उन्हें डिग्री दी गई। याचिका पर हाईकोर्ट के नोटिस के जवाब में पीयू ने कहा कि परीक्षा फीस जमा न करवाने के चलते इन विद्यार्थियों का परिणाम व डिग्री रोके गए हैं। याची पक्ष ने हाईकोर्ट को बताया कि समान विद्यार्थियों ने डिग्री के लिए हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी और हाईकोर्ट ने उनकी डिग्री जारी करने का पीयू को आदेश दिया था।

हाईकोर्ट ने इस पर जवाब मांगा तो पीयू ने बताया कि आदेश का पालन करते हुए परिणाम जारी कर डिग्री उन्हें दे दी गई थी, लेकिन आदेश के खिलाफ अपील दाखिल की जा चुकी है। याची पक्ष ने कहा कि अपील पर खंडपीठ ने केवल नोटिस जारी किया है और सिंगल बेंच के आदेश पर रोक नहीं लगाई है। हाईकोर्ट ने कहा कि परीक्षा फीस जमा न करवाने पर परीक्षा परिणाम और डिग्री रोकी गई है, लेकिन परीक्षा फीस विद्यार्थियों को नहीं जमा करवानी है, यह फीस कॉलेज को जमा करवानी है।

अगली सुनवाई पर हाईकोर्ट तय करेगा पीड़ित विद्यार्थियों के लिए मुआवजा

कोर्ट ने कहा था कि जब विद्यार्थियों की गलती नहीं है तो आखिर क्यों उनका भविष्य बर्बाद किया जा रहा है। यदि उन्हें समय पर डिग्री जारी कर दी गई होती तो अभी या तो वे उच्च शिक्षा ले रहे होते या अच्छी नौकरी कर रहे होते।

हाईकोर्ट ने पंजाब सरकार से पूछा है कि क्या अन्य किसी यूनिवर्सिटी ने छात्रों के परिणाम रोके हैं। साथ ही अगली सुनवाई पर यह तय किया जाएगा कि पीड़ित विद्यार्थियों को कैसे मुआवजा दिया जाए और इसके लिए दोषी कौन है उसकी जिम्मेदारी तय की जाएगी।

(For more news apart from Dead bodies of three migrant laborers found in canal News In Hindi, stay tuned to Spokesman Hindi)

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ROZANASPOKESMAN

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