![Tea industry is going through severe financial crisis: ITA position paper Tea industry is going through severe financial crisis: ITA position paper](/cover/prev/h5b2rpom9edu103jbejr5a9j11-20231012141959.Medi.jpeg)
इस दौरान कोयला और गैस जैसी महत्वपूर्ण चीजों की लागत नौ से 15 प्रतिशत की सीएजीआर से बढ़ी।
कोलकाता : चाय बागान मालिकों के प्रमुख संगठन इंडियन टी एसोसिएशन (आईटीए) ने बृहस्पतिवार को कहा कि उद्योग गंभीर वित्तीय संकट के दौर से गुजर रहा है और कीमतें बढ़ती उत्पादन लागत के साथ तालमेल नहीं बैठा पा रही हैं।
आईटीए ने अपने स्थिति पत्र ‘चाय परिदृश्य 2023’ में कहा कि पिछले दशक में चाय की कीमतें लगभग चार प्रतिशत की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़ी हैं। इस दौरान कोयला और गैस जैसी महत्वपूर्ण चीजों की लागत नौ से 15 प्रतिशत की सीएजीआर से बढ़ी। स्थिति पत्र में कहा गया कि 2022 में चाय निर्यात में सुधार के कुछ संकेत दिखे और यह 23.1 करोड़ किलोग्राम तक पहुंच गया, लेकिन 2023 में जनवरी से जुलाई के बीच इसमें 26.1 लाख किलोग्राम की गिरावट आई।
उद्योग जगत ने उच्च निर्यात लागत को कम करने और निर्यातकों को प्रतिस्पर्धी बने रहने में सक्षम बनाने के लिए सरकार से उच्च गुणवत्ता वाली सीटीसी, ‘ऑर्थोडॉक्स’ और दार्जिलिंग चाय के निर्यात उत्पादों पर शुल्क या करों में छूट की प्रोत्साहन सीमा बढ़ाने पर विचार करने का आग्रह किया है।.