मणिपुर में कूकी जनजाति मैतेई समुदाय को ST का दर्जा देने के खिलाफ 3 मई से विरोध-प्रदर्शन कर रहा है।
इंफाल: मणिपुर में 3 मई से लागातार हिंसा जारी है. वहीं रविवार को एक बार फिर राजधानी इंफाल से लगे सेरौ और सुगनू इलाके में उग्रवादियों और सुरक्षा बलों के बीच हिंसक झड़प हुई। इसमें 1 पुलिसकर्मी समेत 5 लोगों की मौत हो गई,जबकि 12 घायल हुए हैं। बता दें कि राज्य में हिंसा के चलते अब तक करीब 80 लोगों की जान गई है। मिली जानकारी के मुताबिक रविवार को हुई झड़प के बाद मणिपुर में स्थिति शांत लेकिन तनावपूर्ण है।
रज्म में अबतक 40 लोगों का हुआ एनकाउंटर
मणिपुर के मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह ने रविवार को कहा कि सुरक्षा बलों ने राज्य में शांति कायम करने के लिए अभियान शुरू करने के बाद से मकानों में आगजनी और लोगों पर गोलीबारी करने में शामिल हथियारों से लैस करीब 40 उग्रवादियों को मार गिराया है। अधिकारियों ने बताया कि ताजा संघर्ष तब शुरू हुआ जब सेना ने शांति कायम करने के लिए समुदायों को हथियारों से मुक्त करने को लेकर तलाशी अभियान शुरू किया।
बता दें कि मणिपुर में कूकी जनजाति मैतेई समुदाय को ST का दर्जा देने के खिलाफ 3 मई से विरोध-प्रदर्शन कर रहा है। चूराचांदपुर में 3 मई की रात प्रदर्शन के दौरान दोनों समुदाय के लोग एक-दूसरे से भिड़ गए। अब तक राज्य में 80 लोगों की जान जा चुकी है।
बता दें कि मणिपुर की 53 प्रतिशत आबादी मेइती समुदाय की है और ये मुख्य रूप से इंफाल घाटी में रहते हैं। आदिवासियों- नगा और कुकी की आबादी 40 प्रतिशत है और ये पर्वतीय जिलों में रहते हैं।